विज्ञान : 2021 एक अवलोकन


2021 विज्ञान और तकनीक के विकास के लिए एक उल्लेखनीय वर्ष रहा है, इस वर्ष बहु प्रतीक्षित जेम्स वेब अंतरिक्ष दूरबीन का प्रक्षेपण हुआ साथ ही मानव निर्मित यान ने सूर्य के प्रभामंडल को छूने मे मे सफलता पाई है। जैसे-जैसे तकनीक विकसित होती जाती है, नई-नई वैज्ञानिक खोज और नई अवधारणाओं के अस्तित्व में आने की गति भी बढ़ती जाती है।

प्रस्तुत है वर्ष 2021 में विज्ञान विश्व मे घटित घटनाओं, नई खोज और आविष्कार की एक सूची । पढ़ना जारी रखें विज्ञान : 2021 एक अवलोकन

जेम्स वेब अंतरिक्ष दूरबीन ( JWST ) : मानव निर्मित समय यान


नासा की बहुप्रतीक्षित महत्वाकांक्षी अंतरिक्ष दूरबीन “जेम्स वेब स्पेस टेलीस्कोप(JWST)” 25 दिसंबर 2021 को अंतरिक्ष में प्रक्षेपित किये जाने की संभावना है। इस अंतरिक्ष दूरबीन से वैज्ञानिकों को काफी उम्मीदें हैं। वर्तमान में, नासा के हबल अंतरिक्ष दूरबीन को अंतरिक्ष में स्थापित अब तक का सबसे शक्तिशाली दूरबीन माना जाता है।

इसका असली नाम अगली पीढ़ी का अंतरिक्ष दूरदर्शी (Next Generation Space Telescope (NGST)) था, जिसका सन 2002 में नासा के द्वितीय प्रशासक जेम्स एडविन वेब (1906-1992) के नाम पर दोबारा नामकरण किया गया। जेम्स एडविन वेब ने केनेडी से लेकर ज़ोंनसन प्रशासन काल (1961-68) तक नासा का नेतृत्व किया था। उनकी देखरेख में नासा ने कई महत्वपूर्ण प्रक्षेपण किए, जिसमे जेमिनी कार्यक्रम के अंतर्गत बुध के सारे प्रक्षेपण एवं प्रथम मानव युक्त अपोलो उड़ान शामिल है।

यह आश्चर्य की बात नहीं है कि जेम्स वेब की तुलना हबल से की जाती है। यह माना जाता है कि यह दूरबीन हबल दूरबीन का उत्तराधिकारी है। यह आंशिक रूप से सत्य है, क्यों कि जेम्स वेब टेलीस्कोप हब्स अंतरिक्ष दूरबीन से बहुत भिन्न है। दोनों में अलग-अलग क्षमताएं हैं। हबल अंतरिक्ष दूरबीन की बात करें तो इसकी अंतरिक्ष मे स्थापना वर्ष 1990 में पृथ्वी की निचली कक्षा (LEO)में हुई थी। पिछले 31 वर्षों में, हबल ने 14 लाख निरीक्षण किए हैं, जिसमें तारे के मध्य के पिंडों का अवलोकन, बृहस्पति से टकराने वाले धूमकेतुओं का निरीक्षण और उनकी खोज करना शामिल है। पढ़ना जारी रखें जेम्स वेब अंतरिक्ष दूरबीन ( JWST ) : मानव निर्मित समय यान

2021 रसायन नोबेल पुरस्कार :बेजामिन लिस्ट तथा डेविड मैकमिलन


वर्ष 2021 का रसायन नोबेल पुरस्कार बेजामिन लिस्ट(Benjamin List) तथा डेविड मैकमिलन(David W.C. MacMillan) को दिया गया है।

नोबेल कमेटी के अनुसार इस वर्ष का रसायन नोबेल पुरस्कार अणुओं के निर्माण के उपकरण (development of asymmetric organocatalysis) के लिए दिया गया है।

रसायन शास्त्री छोटे अणुओं को जोड़ कर नए बड़े अणुओं का निर्माण करते रहते है, लेकिन इन अदृश्य अणुओं मनचाहे तरीके से नियंत्रण कर मनचाहा अणु बनाना कठिन है। बेंजामिन लिस्ट तथा डेविड मैकमिलन को 2021 का रसायन नोबेल पुरस्कार अणुओं के निर्माण के लिए एक नए उपकरण बनाने के लिए दिया जा रहा है जिसे ऑरगनोकेटेलिसिस (organocatalysis) कहते है। इस विधि का प्रयोग फार्मास्युटिकल उद्योग मे नई दवाओं के अणुओं के निर्माण में होगा साथ में यह रसायन शास्त्र को पर्यावरण मित्र बनाएगा।

बहुत से उद्योग तथा शोध क्षेत्र रसायनज्ञ द्वारा नए और सक्रिय अणुओं के निर्माण की क्षमता पर निर्भर करते है। ये अणु कुछ भी हो सकते है, जिनमें सौर पैनल मे प्रकाश अवशोषण करने वाले अणु , बैटरी मे ऊर्जा संग्रहीत करने वाले अणु, या दौड़ने के जूते निर्माण में प्रयोग होने वाले अणु या किसी बीमारी को रोक सकने की क्षमता रखने वाले अणु भी शामिल होते है।

यदि हम प्रकृति द्वारा इन अणुओं के निर्माण की क्षमता को हमारी अपनी क्षमता से तुलना करें तो हम अब भी पाषाण युग मे है। जैव विकास ने बहुत से महत्वपूर्ण उत्पाद बनाए है जो अन्य अणुओं के निर्माण मे उपकरण के रूप मे प्रयुक्त होते है जैसे एन्जाइम्स,जोकि ऐसी विशाल आणविक संरचना बनाते है जिससे जीवन को आकार, रंग और गुण मिलते है। आरंभ मे जब रसायनज्ञों ने इन रासायनिक मास्टरपीसों को अलग किया तो वे उन्हे प्रशंसा से निहारते रह गए। इन रसायनज्ञों के औजारों के बक्सों मे आणविक संरचनाओं के निर्माण के लिए ऐसे हथौड़े और छेनी थे जो बोथरे और अविश्वसनीय थे, जब भी वे प्राकृतिक अणुओ के निर्माण की कोशिश करते थे, इन औजारों के प्रयोग से बहुत से अनुपयोगी सहउत्पाद बनाते थे और उत्पाद भी अनगढ़ होते थे। पढ़ना जारी रखें 2021 रसायन नोबेल पुरस्कार :बेजामिन लिस्ट तथा डेविड मैकमिलन

2021 भौतिकी नोबेल पुरस्कार : सुकोरो मनाबे , क्लाउस हैसलमेन तथा जिओर्जिओ परीसी


पृथ्वी का वातावरण एक ऐसी ही अत्याधिक जटिल प्रणालीयों मे से एक है। मनाबे और हाइसेलमन ने वातावरण के भौतिक गणितीय माडेल के निर्माण मे महत्वपूर्ण क्रांतिकारी आरंभिक नींव निर्माण का कार्य किया है। परीसी ने जटिल प्रणाली सिद्धांत संबधित अनेक समस्याओं के हल के लिए सैद्धांतिक समाधानों पर कार्य किया है।

सुकीरों मनाबे ने दर्शाया कि वातावरण मे कार्बन डाई आक्साइड की बड़ी हुई मात्रा से पृथ्वी की सतह पर तापमान बढ़ा है। 1960 के दशक मे उन्होंने पृथ्वी के वातावरण के माडेल के निर्माण कार्य मे योगदान दिया और वे विकिरण संतुलन और उसके द्वारा वायु द्रव्यमान के ऊर्ध्वाधर स्थानांतरण के मध्य सम्बद्ध खोजने वाले पहले व्यक्ति थे। उनके इस कार्य से मौसमी माडेल निर्माण की नींव का निर्माण हुआ।

इसके दस वर्ष पश्चात क्लाउस हाइसेलमन वातावरण और मौसम को जोड़ने वाला माडेल बनाया। इस माडेल ने दर्शाया कि किस तरह से वातावरण के अव्यवस्थित और अराजक होने के बावजूद मौसमी माडल मे मे बदलाव की गणना की जा सकती है और सटीक पूर्वानुमान लगाए जा सकते है। उन्होंने ऐसी विधियों की खोज की जिसके द्वारा मौसम मे प्राकृतिक तथा मानवीय हस्तक्षेप द्वारा पड़ने वाले विशिष्ट संकेतों और हस्ताक्षरों को पहचाना जा सकता है। उनकी इन्ही विधियों से प्रमाणित किया गया कि पृथ्वी पर बढ़ते तापमान के लिए मानव द्वारा उत्सर्जित कार्बन डाई आक्साइड उत्तरदाई है।

1980 के आसपास जिओर्जिओ परीसी ने जटिल प्रणालियों मे छुपे हुए पैटर्न की खोज की। उनकी खोज जटिल प्रणाली सिद्धांत के अध्ययन मे सबसे महत्वपूर्ण मानी जाती है। उनकी खोजो के द्वारा किसी पूर्णत: अव्यवस्थित जटिल पदार्थ या घटना को समझना और उससे संबधित भिन्न भिन्न कारकों की व्याख्या संभव हुई है। इन खोजों का प्रयोग भौतिकी के अतिरिक्त अन्य क्षेत्र जैसे गणित, जीव विज्ञान, तंत्रिका विज्ञान और मशीन लर्निंग होता है। पढ़ना जारी रखें 2021 भौतिकी नोबेल पुरस्कार : सुकोरो मनाबे , क्लाउस हैसलमेन तथा जिओर्जिओ परीसी

2021 चिकित्सा नोबेल पुरस्कार :डेविड जूलियस और अरडेम पेटापुतीन


वर्ष 2021 के चिकित्सा नोबेल पुरस्कारों का ऐलान सोमवार 4 अक्टूबर 2021 को किया गया है। इस बार को यह पुरस्कार डेविड जूलियस और अरडेम पेटापुतीन को मिला है।
ऊष्मा, शीत और स्पर्श संबधित हमारी संवेदनायें हमारे जीवन के लिए अत्यावश्यक है। इन्ही के द्वारा हम अपने आसपास के विश्व को महसूस करते है। अपने रोजमर्रा के जीवन मे हम इन संवेदनाओ को हम बहुत आसानी से लेते है लेकिन हमारा तंत्रिका तंत्र इन को किस तरह से समझता है, वह तापमान और दबाव को किस तरह से महसूस करता है ? इस वर्ष के चिकित्सा नोबेल पुरस्कार विजेताओ ने इस प्रश्न का उत्तर दिया है।

डेविड जूलियस ने मिर्च मे पाए जाने वाले एक रसायन कैप्साइसीन का प्रयोग किया, कैप्साइसीन त्वचा मे जलन उत्पन्न करता है। इस रसायन के प्रयोग से से डेविड ने हमारी त्वचा मे एक ऊष्मा महसूस करने वाले तंत्रिका तंत्र के सिरे का पता लगाया। अरडेम पेटापुटीन ने दबाव कोशिकाओ के प्रयोग से त्वचा मे यांत्रिकी दबाव महसूस करने वाली एक नई तरह की तंत्रिकाओं का पता लगाया। इन क्रांतिकारी खोजों से हमारी तंत्रिका तंत्र द्वारा ऊष्मा , शीत और यांत्रिकी दबाव के महसूस करने की प्रक्रिया को समझने मे मदद की है। इन वैज्ञानिकों ने हमारी संवेदना और आसपास के वातावरण के मध्य चल रही जटिल प्रक्रियाओ को समझने मे बिखरी कडीयो को जोड़ा है। पढ़ना जारी रखें 2021 चिकित्सा नोबेल पुरस्कार :डेविड जूलियस और अरडेम पेटापुतीन

पेगासस : स्पाइवेयर क्या है ?


स्पाइवेयर मालवेयर का एक प्रकार है जो कंप्यूटर पर इंस्टॉल किया जाता है और उपयोगकर्ताओं की गैर-जानकारी में उनके बारे में सूचनाएं एकत्र किया करता है। स्पाइवेयर की उपस्थिति आमतौर पर उपयोगकर्ताओं से छिपी होती है। विशिष्ट रूप से, स्पाइवेयर चुपके से उपयोगकर्ताओं के व्यक्तिगत कंप्यूटर पर इंस्टॉल किया जाता है। हालांकि, कभी कभी, कीलॉगर्स जैसे स्पाइवेयर साझा, कॉर्पोरेट, या सार्वजनिक कंप्यूटर के मालिक द्वारा भी इंस्टॉल किये जाते हैं ताकि गुप्त रूप से अन्य उपयोगकर्ताओं की निगरानी की जा सके।
स्पाइवेयर शब्द से पता चलता है कि यह एक सॉफ्टवेयर है जो उपयोगकर्ता के कंप्यूटर पर गुप्त रूप से निगरानी रखता है, जबकि स्पाइवेयर का काम महज निगरानी से भी कहीं ज्यादा है। स्पाइवेयर विभिन्न प्रकार की व्यक्तिगत जानकारी इकट्ठा करता है, जैसे कि इंटरनेट सर्फिंग की आदतें और जिन साइटों पर जाया जाता है वह जानकारी। मगर, स्पाइवेयर अतिरिक्त सॉफ़्टवेयर इंस्टॉल करके और वेब ब्राउज़र को पुनःनिर्देशित करने जैसे अन्य तरीकों से उपयोगकर्ता के कंप्यूटर के नियंत्रण में भी हस्तक्षेप कर सकता है। कुछ स्पाइवेयर को कंप्यूटर सेटिंग्स को बदलने के लिए जाना जाता है, जिससे कनेक्शन की गति, अलग-अलग होमपेज की गति और/या इंटरनेट और/या अन्य प्रोग्रामों की कार्यक्षमता धीमी हो जाती है।
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